बानर बांको रे,
लंका नगरी में,
मच गयो हाको रे,
बानर बांको रे ॥
मात सिया यूं बोली रे बेटा,
फल खाई तू पाको रे,
इतने माही कूद्या हनुमत,
मार फदाको रे..बानर ॥
रुख उडाख पटक धरणी पर,
भोग लगाया फलों को रे,
रखवाला जब पकड़न लाग्या,
दियो झड़ाको रे..बानर ॥
राक्षसिया अडरावै सारा,
काल आ गयो म्हाको रे,
मुख पर मार पड़े मुक्के री,
फाड़े बाको रे..बानर ॥
हाथ टांग तोड़े, सिर फोड़े,
घट फोड़े ज्यू पाको रे,
लुक छिप कर कई घर में घुसग्या,
पड़ गयो फांको रे..बानर ॥
उजड़ी पड़ी अशोका वाटिका,
ज्यूं मारग सड़कों को रे,
उथल-पुथल सब करयो बगिचो,
बिगाड़यो खाको रे..बानर ॥
जाय पुकार करी रावन स्यूं,
दिन खोटो असुरां को रे,
कपि आय एक घुस्यो बाग में,
गजब लडाको रे..बानर ॥
भेज्यो अक्षय कुमार भिडन नै,
हनुमत स्यामी झांक्यो रे,
एक लात की पड़ी असुर पर,
पी गयो नाको रे..बानर ॥
धन धन रे रघुवर का प्यारा,
अतुलित बल है थांको रे,
तु हे जग में मुकुटमणि है,
सब भक्तां को रे..बानर ॥