थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला,
कद आवोला, कद आवोला,
कदे आकर दर्शन दिखावोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।
हर घड़ी माला फेरूं,
बाबा थारे नाम की,
मन में बसी है छवि,
सालासर धाम की,
किरपा को थामो हाथ,
बालाजी कद आवोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।
लोभ और मोह बाबा,
मन्ने ललचा रियो,
काम क्रोध और अहंकार,
मन से नी जा रियो,
बैठ्या पाँचू लगा के घात,
बालाजी कद आवोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।
नाम थारा लिया दुःख,
निरे नई आवे रे,
कट जावे रोग सोया,
भाग जग जावे रे,
थे हो दिन दुखी का नाथ,
बालाजी कद आवोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।
सगळा की सुणी थे,
लख्खा की कद सुनस्यो,
बावरे सरल से,
कसूर होयो कोण सो,
थासु करणी रे दो बात,
बालाजी कद आवोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला,
कद आवोला, कद आवोला,
कदे आकर दर्शन दिखावोला,
थाने सुमरा मैं दिन-रात,
बालाजी कद आवोला।।